We News 24 Digital News» रिपोर्टिंग सूत्र / कविता चौधरी
नई दिल्ली :- सुप्रीम कोर्ट ने सहारा इंडिया परिवार के निवेशकों के लिए एक महत्वपूर्ण आदेश जारी किया है। कोर्ट ने सहारा ग्रुप को निर्देश दिया है कि वह निवेशकों के फंसे हुए पैसे वापस लौटाए। यह निर्णय उन निवेशकों के लिए राहत लेकर आया है, जिन्होंने लंबे समय से अपने पैसे वापस पाने का इंतजार किया है।
कोर्ट ने सेबी (भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड) को भी निर्देश दिया है कि वह सहारा के मामलों की निगरानी करे और सुनिश्चित करे कि निवेशकों को उनका पैसा वापस मिले। कोर्ट ने सहारा समूह को निवेशकों की सूची और उनकी देनदारियों का विवरण भी प्रदान करने का आदेश दिया है, जिससे रिफंड प्रक्रिया में पारदर्शिता बनी रहे।
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यह आदेश सहारा इंडिया के लाखों निवेशकों के लिए राहत की खबर है, जो अपने निवेश की वापसी की प्रतीक्षा कर रहे थे। अब यह उम्मीद है कि सुप्रीम कोर्ट के इस आदेश के बाद निवेशकों को जल्द ही उनका पैसा वापस मिल सकेगा।
सुप्रीम कोर्ट ने सहारा समूह को अपने शीर्ष अधिकारियों, मौजूदा शेयरधारकों और संपत्तियों की सूची प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है, जिनकी बिक्री से 10,000 करोड़ रुपये जुटाए जा सकते हैं। इस राशि का उपयोग निवेशकों का पैसा वापस करने के लिए किया जाएगा, जिसे सेबी-सहारा रिफंड खाते में जमा करना होगा।
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यह मामला 2012 से चल रहा है, जब सुप्रीम कोर्ट ने सहारा समूह की कंपनियों को निवेशकों से एकत्र की गई राशि तीन महीने के भीतर 15 प्रतिशत प्रति वर्ष ब्याज के साथ सेबी को लौटाने का आदेश दिया था। लेकिन अभी तक केवल 15,000 करोड़ रुपये ही जमा हो सके हैं।
अब अदालत ने कहा है कि इस मामले का कोई व्यावहारिक समाधान निकाला जाना चाहिए। सहारा समूह के वकील कपिल सिब्बल ने अदालत को सूचित किया कि वे शेष राशि जमा करने के लिए एक योजना प्रस्तुत करेंगे। अदालत ने यह भी पूछा कि सुब्रत राय के निधन के बाद कंपनी का नेतृत्व कौन कर रहा है और वह अदालत के आदेश का पालन कैसे करेगा।
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